पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने पहली बार स्वीकार किया कि मुंबई में 26/11 को हुए आतंकी हमले में पाकिस्तानी आतंकियों का हाथ था.
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लश्कर-ए-तैयबा के 10 आतंकवादी नवंबर 2008 में कराची से मुंबई नाव से पहुंचे थे.
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कई हमलों में आतंकियों ने 166 लोगों की जान ले ली थी और 300 से अधिक जख्मी हुए थे.
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मुंबई हमले के केस के 10 साल हो गए लेकिन पाक ने अबतक कोई ऐक्शन नहीं लिया.
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भारत की मांग है कि मास्टरमाइंड हाफिज सईद के खिलाफ मुकदमा जरूर चलाना चाहिए.
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मुंबई अटैक में पाकिस्तानी आतंकियों का ही हाथ था नवाज ने एक इंटरव्यू में स्वीकार किया है कि उनके देश में आतंकी संगठन सक्रिय हैं।
शुक्रवार को मुल्तान में रैली से पहले ‘द डॉन’ को दिए इंटरव्यू में नवाज ने कहा,
‘आप एक देश को नहीं चला सकते जब दो या तीन समानांतर सरकारें चल रही हों। यह रोकना होगा। सिर्फ एक ही सरकार हो सकती है, जो संवैधानिक प्रक्रिया से चुनी गई हो।’
‘आतंकी संगठन सक्रिय हैं, क्या हमें उन्हें सीमा पार करने और मुंबई में 150 लोगों की हत्या करने की इजाजत दे देनी चाहिए? मुझे बताइए।’ रावलपिंडी आतंकरोधी अदालत में मुंबई हमलों का ट्रायल लंबित होने का हवाला देते हुए नवाज ने कहा, ‘हमने सुनवाई क्यों नहीं पूरी की?’
पूर्व प्रधानमंत्री ने मुंबई हमलों को लेकर पाकिस्तान में हो रही सुनवाई की रफ्तार पर भी सवाल उठाया
वह कौन सा कारण है जिससे उनकी पीएम की कुर्सी गई तो उन्होंने सीधा जवाब नहीं दिया